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बिलासपुर में शराब माफिया' पर शिकंजा: ₹50 लाख की संपत्ति जब्त

बिलासपुर । बिलासपुर पुलिस ने अवैध महुआ शराब के कारोबार पर अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई की है। 'चेतना विरुद्ध नशा' अभियान के तहत पुलिस ने पहली बार नए कानून की धारा 107 बीएनएसएस का इस्तेमाल करते हुए एक दंपत्ति संतोष वर्मा और देवीबाई वर्मा, और उनके बेटे राहुल वर्मा की लगभग 50 लाख रुपये की अवैध संपत्ति फ्रीज करने के लिए सक्षम न्यायालय को प्रतिवेदन भेजा है। यह कार्रवाई प्रदेश में अपनी तरह की पहली है, जो संगठित शराब माफिया के खिलाफ पुलिस के सख्त रुख को दर्शाती है।
पुलिस कोनी थाने में दर्ज अपराध क्रमांक 262/2025 और 276/2025 (धारा 34-2 आबकारी एक्ट) की जांच के दौरान पता चला कि संतोष, देवीबाई और राहुल वर्मा कई सालों से हाथ भट्ठी की अवैध महुआ शराब बनाने और बेचने का संगठित धंधा चला रहे थे। इन पर पहले भी कई बार कानूनी कार्रवाई हुई, लेकिन इनके तौर-तरीकों में कोई सुधार नहीं आया। वे लगातार अवैध शराब बेचकर मोटी कमाई कर रहे थे।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक बिलासपुर, श्री रजनीश सिंह के निर्देश पर, और अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (शहर) श्री राजेंद्र जायसवाल व नगर पुलिस अधीक्षक (कोतवाली) श्री अक्षय प्रमोद साबद्रा के मार्गदर्शन में, थाना प्रभारी कोनी निरीक्षक राहुल तिवारी ने एक टीम बनाई। इस टीम ने आरोपियों द्वारा अवैध शराब के धंधे से अर्जित की गई संपत्ति की विस्तृत जांच की। जांच में सामने आया कि आरोपियों ने अवैध शराब बेचकर एक प्लाट, दो मंजिला मकान, एक ट्रैक्टर, एक स्विफ्ट कार और दो मोटरसाइकिल खरीदी थीं, जिनकी अनुमानित कीमत लगभग 50 लाख रुपये है। पुलिस के अनुसार, आरोपियों के पास आय का कोई वैध जरिया नहीं था जिससे वे इतनी संपत्ति अर्जित कर सकें।
केंद्र और राज्य सरकार की मंशा के अनुरूप, धारा 107 बीएनएसएस 2023 के तहत अवैध गतिविधियों से अर्जित संपत्ति जब्त करने की यह कार्रवाई की गई है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक से अनुमति मिलने के बाद, कोनी थाना ने इस संपत्ति को जब्त करने के लिए सक्षम न्यायालय में विस्तृत रिपोर्ट पेश की है, जिस पर तेजी से कार्रवाई की जा रही है।