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रायपुर में धर्मांतरण के खिलाफ ‘जगन्नाथ सेना’ की एंट्री: BJP विधायक पुरंदर मिश्रा ने संभाला मोर्चा, 4 महिलाओं की कराई घर वापसी
रायपुर में धर्मांतरण के खिलाफ ‘जगन्नाथ सेना’ की एंट्री: BJP विधायक पुरंदर मिश्रा ने संभाला मोर्चा, 4 महिलाओं की कराई घर वापसी
Raipur में धर्मांतरण रोकने BJP विधायक पुरंदर मिश्रा ने बनाई 'जगन्नाथ सेना', 4 महिलाओं की कराई घर वापसी, हर रविवार चलेगा जन-जागरण अभियान।
रायपुर: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में धर्मांतरण के बढ़ते मामलों के खिलाफ एक नई रणनीतिक मुहिम शुरू की गई है। रायपुर उत्तर विधानसभा क्षेत्र से BJP विधायक पुरंदर मिश्रा ने ‘जगन्नाथ सेना’ का गठन किया है। यह संगठन विशेष रूप से धर्मांतरण को रोकने और लोगों को हिंदू धर्म के प्रति जागरूक करने के उद्देश्य से काम करेगा। मिश्रा ने कहा कि यह सेना रायपुर से शुरू होकर गांव-गांव तक सक्रिय होगी।
विधायक पुरंदर मिश्रा के नेतृत्व में बनी यह टीम हर रविवार सुबह 9 से 11 बजे तक क्षेत्रीय झुग्गी बस्तियों में जाकर धर्मांतरण रोकने के लिए जन-जागरण अभियान चलाएगी। यह टीम खासकर उन बस्तियों में जाएगी जहां धर्मांतरण की सूचनाएं मिल रही हैं। मिश्रा का कहना है कि यदि किसी बस्ती में इस तरह की गतिविधि सामने आती है तो उसकी जानकारी तत्काल शासन-प्रशासन को दी जाएगी।
4 महिलाओं की कराई गई 'घर वापसी'
‘जगन्नाथ सेना’ की पहली बड़ी पहल उड़िया बस्तियों में देखने को मिली, जहां चार धर्मांतरित महिलाओं को फिर से हिंदू धर्म में वापसी करवाई गई। विधायक मिश्रा और उनकी टीम ने फूल-मालाएं पहनाकर और तिलक लगाकर इन महिलाओं की सम्मानजनक "घर वापसी" की।
विधायक पुरंदर मिश्रा ने कहा कि भारत में कई समाज हैं, लेकिन कुछ लोग धर्म की ठेकेदारी कर रहे हैं। इन ठेकेदारों को रोकने के लिए ‘जगन्नाथ सेना’ बनाई गई है। यह सेना केवल रायपुर तक सीमित नहीं रहेगी, बल्कि पूरे राज्य में गांव-गांव जाकर धर्मांतरण विरोधी कार्य करेगी। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि जगन्नाथ सेना मिशनरी गतिविधियों पर नजर रखेगी और किसी भी प्रकार की गुप्त धर्मांतरण प्रक्रिया की जानकारी मिलने पर तुरंत कार्रवाई सुनिश्चित करेगी।
अभियान की कार्यप्रणाली:
- हर रविवार जन-जागरण यात्रा
- संवेदनशील इलाकों में भ्रमण और संवाद
- घर-घर जाकर धर्म का महत्व बताना
- धर्मांतरण की जानकारी मिलने पर प्रशासन को सूचना
- मिशनरी गतिविधियों पर सतत निगरानी
राजनीतिक हलकों में हलचल
BJP विधायक की इस पहल को लेकर राज्य की राजनीति में भी चर्चाएं तेज हो गई हैं। जहां एक ओर हिंदू संगठनों ने इस कदम का समर्थन किया है, वहीं दूसरी ओर विपक्ष इसे "राजनीतिक एजेंडा" बता रहा है।
