सीजीपीएससी भर्ती घोटाला: हाईकोर्ट से शासन को झटका, निर्दोष डीएसपी डिप्टी कलेक्टरों की नियुक्ति का रास्ता साफ

बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के चर्चित सीजीपीएससी भर्ती घोटाला (2021-22) मामले में हाईकोर्ट से एक बड़ा फैसला आया है। हाईकोर्ट ने राज्य शासन की अपील को खारिज कर दिया है, जिससे सरकार को बड़ा झटका लगा है। इस फैसले के बाद उन चयनित निर्दोष अभ्यर्थियों को डीएसपी और डिप्टी कलेक्टर के पदों पर नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है, जिनके नाम सीबीआई की चार्जशीट में शामिल नहीं हैं।

राजनीतिक रसूख और अनियमितता का था आरोप

यह भर्ती घोटाला १७१ पदों के लिए हुआ था, जिस पर आरोप था कि राजनीतिक रसूख और प्रशासनिक अधिकारियों के रिश्तेदारों को नियमों को ताक पर रखकर चयनित किया गया। सीबीआई की जाँच में बड़े खुलासे हुए थे और जाँच के बाद ७ लोगों को गिरफ्तार भी किया गया था। घोटाले में शामिल नामों पर रोक लगाते हुए चयन प्रक्रिया को रोक दिया गया था।

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डिवीजन बेंच ने सिंगल बेंच का फैसला रखा बरकरार

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चयन प्रक्रिया पर लगी रोक के खिलाफ निर्दोश चयनित अभ्यर्थियों ने हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी। इस मामले की सुनवाई करते हुए सिंगल बेंच ने आदेश दिया था कि जिन अभ्यर्थियों के नाम चार्जशीट में नहीं हैं, उन्हें तुरंत नियुक्ति दी जाए।

इस आदेश के खिलाफ राज्य शासन ने चीफ जस्टिस की डिवीजन बेंच में अपील दायर की थी। लेकिन आज हाईकोर्ट ने शासन की इस अपील को खारिज करते हुए सिंगल बेंच के पूर्व आदेश को बरकरार रखा है। मामले में याचिकाकर्ताओं की ओर से सीनियर एडवोकेट राजीव श्रीवास्तव और मलय श्रीवास्तव ने पैरवी की। इस फैसले के बाद अब राज्य शासन के पास सुप्रीम कोर्ट जाने का ही एकमात्र कानूनी रास्ता बचा है।

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